ख़बरिस्तान नेटवर्क : अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने ट्रेड वॉर छेड़ दी है। ट्रम्प ने घोषणा कर बताया कि अमेरिका जल्द ही दवाइयों पर भारी टैरिफ लगाने जा रहा है। जिस वजह से पूरी दुनिया की स्टॉक मार्किट में हलचल मच गई है। इस घोषणा के बाद, अलग अलग देशों और दवा कंपनियों ने अपनी चिंता व्यक्त की है। जिसमें ऑस्ट्रेलिया और यूरोपीय संघ के नेताओं ने बढ़ते टैरिफ के खिलाफ अपनी आपत्ति जताई है।
घरेलू दवा इंडस्ट्री को देना चाहते हैं बढ़ावा
डोनाल्ड ट्रम्प ने 8 अप्रैल, 2025 को वाशिंगटन में नेशनल रिपब्लिकन कांग्रेसनल कमेटी (NRCC) के कार्यक्रम में कहा कि उनका मकसद विदेश में दवा बना रही कंपनियों को अमेरिका में अपनी फैक्ट्रियाँ लगाने के लिए प्रेरित करना और घरेलू दवा इंडस्ट्री को बढ़ावा देना है। अमेरिकी सरकार का मानना है कि इससे अमेरिका में दवाओं का निर्माण बढ़ेगा और देश की अर्थव्यवस्था को फायदा होगा।
बढ़ सकती है दवाओं की कीमत
इस फैसले से भारत पर भी असर होगा। भारतीय फार्मास्यूटिकल कंपनियां हर साल अमेरिका को 40% जेरेनिक दवाएं भेजती हैं। अमेरिका ने भारत से आने वाले सामानों पर 26% टैरिफ लगाने का ऐलान किया है। यह आज से ही लागू हो गया है। विशेषज्ञों का कहना है कि इस वजह से दुनिया में दवाओं की सप्लाई पर भारी असर पड़ेगा। इससे दवाओं को बनाना और मंगवाना महंगा होगा, जिससे उनकी कीमतें बढ़ सकती हैं।
फार्मा सेक्टर में बड़े स्तर पर किया जाएगा बदलाव
इससे पहले ट्रम्प ने 2 अप्रैल को लिबरेशन डे पर टैरिफ की घोषणा की थी, तब फार्मा सेक्टर में कोई बदलाव नहीं किया गया था। लेकिन बता दें की उन्होंने कहा था कि इसे जल्द ही ऐसे स्तर पर शुरू किया जाएगा जो किसी ने भी पहले देखा नहीं होगा। ट्रम्प टैरिफ को लेकर आज ही कोई बड़ा ऐलान भी कर सकते हैं।