पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड ने मान्यता प्राप्त स्कूल और एफिडेविट स्कूल की नई मान्यता लेने, मान्यता नवीनीकरण और एडिशनल सेक्शन के लिए ली जाने वाली फीस पर 18% जीएसटी लगाने की नोटिफिकेशन जारी की थी। जिसे रेकोग्नाइजड एफिलिएशन स्कूल एसोसिएशन यूके (रासा ग्रुप) ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी, जिसकी सुनवाई के दौरान पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने शिक्षा बोर्ड के जीसएटी लगाने के नोटिफिकेशन पर रोक लगा दी है।
इस संबंध में मान्यता प्राप्त (Recognized Schools) और एफिडेविट स्कूल एसोसिएशन रासा यूके पंजाब के चेयरमैन हरपाल सिंह यूके, प्रधान रवि कुमार शर्मा और जनरल सेक्रेटरी गुरुमुख सिंह ने बताया कि शिक्षा बोर्ड के इस फैसले को चुनौती दी गई थी।
उन्होंने बताया कि नोटिफिकेशन मुताबिक, 15 सितंबर तक नई संबद्धता लेने वाले स्कूल को डेढ़ लाख फीस के ऊपर 27000 रुपए और सीनियर सेकेंड्री के लिए 5000 रुपए की फीस के साथ 9000 रुपए जीएसटी देना होता है।
ज्यादा सेक्शन लेने के लिए 18% GST देना पड़ना था
ज्यादा सेक्शन लेने के लिए फीस और साल की रिपोर्ट की फीस पर 18% जीएसटी भी देना पड़ना था। उन्होंने कहा कि नई संबद्धता (Affiliation) अगले 3 सालों के लिए दी जाएगी। संबद्धता पूरी होने पर विस्तार के लिए 3 साल के सेशन की शुरुआत में ही 50000/- + 9000/- 18% जीएसटी भी लगाया जा सकता है।
गुरमुख सिंह ने कहा कि 30 अगस्त तक अतिरिक्त सेक्शन लेने के लिए फीस के रूप में 50,000 रुपए + 9,000 रुपए (18% जीएसटी) का फीस करना पड़ना था।
अब बिना जीएसटी के फीस जमा करवा सकेंगे
हरपाल सिंह यूके और रवि शर्मा ने कहा कि इस संबंध में शिक्षा बोर्ड के सेक्रेटरी ने 21 अगस्त को सभी स्कूल संगठनों की बैठक बुलाई थी, जो बेनतीजा रही। मान्यता प्राप्त और रेकोग्नाइजड एफिलिएशन एसोसिएशन रासा यूके पंजाब ने इस फैसले को रद्द करने की मांग करते हुए 6 सितंबर को मामले की सुनवाई की। इसकी अगली सुनवाई 15 अक्टूबर 2024 को तय की गई है। जिससे कोर्ट ने संबद्ध स्कूल को बड़ी राहत दी है और स्कूल बिना जीएसटी के फीस जमा कर सकेंगे।