ख़बरिस्तान नेटवर्क, अमेरिका : भारत से हजारों मील दूर अमेरिका की न्यू जर्सी में हाथ से बनाए गए सबसे बड़े हिंदू मंदिरों में से एक का उद्घाटन 5 अक्टूबर को किया जाएगा। यह मंदिर अमेरिका का सबसे बड़ा हिंदू मंदिर, BAPS स्वामीनारायण अक्षरधाम है। इसे बनाने में करीब 14 वर्ष लगे। यह 183 एकड़ में फैला हुआ है।
यह भव्य मंदिर 19वीं सदी के हिंदू आध्यात्मिक गुरु भगवान स्वामीनारायण को समर्पित है। इस महामंदिर का निर्माण वर्ष 2015 में शुरू हुआ था और इसका उद्घाटन 5 अक्टूबर को महंत स्वामी महाराज की तरफ से किया जाएगा।
मंदिर में भारतीय इतिहास को तराशा जाएगा
मंदिर में भारतीय इतिहास को तराशा जा रहा है। मंदिर को सभी श्रद्धालुओं के लिए खोला जाएगा। इससे वे भारतीय कला, वास्तुकला और संस्कृति सीखेंगे। यह मंदिर इस राष्ट्र के ताने-बाने को जोड़ता है। यह न केवल कई अमेरिकियों के लिए जश्न मनाने का गर्व का क्षण है।
लेकिन जब मैं अपने पड़ोसी जो को लेकर आया, तो वह भी भारतीय संस्कृति, भारतीय कला और विशेष रूप से हिंदू धर्म के बारे में जानने के लिए बहुत उत्सुक था। यह एक ऐसा स्थान होगा जहां हम उन्हें ला सकते हैं। वे न केवल संस्कृति, कला के बारे में सीखेंगे, बल्कि तीन दिन से लेकर तीन साल तक के 12,500 से अधिक स्वयंसेवकों की भक्ति के बारे में भी जानेंगे।
मंदिर में होंगी 10 हजार मूर्तियां
इस मंदिर को प्राचीन हिंदू धर्मग्रंथों के अनुसार बनाया गया है और इसमें 10,000 मूर्तियों एवं प्रतिमाओं, भारतीय संगीत वाद्ययंत्रों और नृत्य रूपों की नक्काशी सहित प्राचीन भारतीय संस्कृति को दर्शाया गया है। यह मंदिर कंबोडिया स्थित अंकोरवाट के बाद संभवत: दूसरा सबसे बड़ा मंदिर है।
12वीं सदी में निर्मित अंकोरवाट मंदिर दुनिया का सबसे बड़ा हिंदू मंदिर है, जो 500 एकड़ में फैला है। यह यूनेस्को (संयुक्त राष्ट्र शैक्षणिक, वैज्ञानिक तथा सांस्कृतिक संगठन) का विश्व धरोहर स्थल है। नई दिल्ली स्थित अक्षरधाम मंदिर 100 एकड़ में बना है। इसे 2005 में आम लोगों के लिए खोला गया था।
कौन-कौन होगा शामिल?
नई दिल्ली के अक्षरधाम मंदिर को गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड मिला हुआ है। यह मंदिर 100 एकड़ में फैला हुआ है। वहीं, अमेरिका का अक्षरधाम मंदिर भी रिकॉर्ड तोड़ने के लिए तैयार है। BAPS स्वामीनारायण संस्था ने भारत, ब्रिटेन, अमेरिका, कनाडा, केन्या, दक्षिण अफ्रीका और ऑस्ट्रेलिया में लगभग 1,400 मंदिरों का निर्माण किया है।