कारोबारी चंद्रशेखर अग्रवाल की जीटीबी नगर कोठी और नकोदर रोड पर बने ऑफिस में ईडी की रेड के बाद जालंधर में रियल एस्टेट कारोबार में दिन भर खबरों का बाजार गर्म रहा। जालंधर में 66 फुटी रोड रियल एस्टेट हब बना हुआ है। इसी रोड पर चंद्र अग्रवाल के भी बड़े प्रोजेक्ट निर्माणाधीन है। एजीआई के बाद चंद्रशेखर अग्रवाल के इस रोड पर आने से रियल एस्टेट कारोबार को बड़ा बूम मिला था।
टैक्सी में आई रेड करने आई टीमें
हिंदी समाचार पत्र दैनिक भास्कर की रिपोर्ट के मुताबिक ईडी की 2 स्पेशल टीमों ने सोमवार सुबह-सुबह रेड की जो देर रात तक चली। इस दौरान परिवार के सभी सदस्यों के फोन जब्त कर लिए गए और उनके बाहर जाने पर भी रोक लगा दी गई। ईडी की टीम के साथ काफी फोर्स भी मौजूद थी। रेड को गुप्त रखने के लिए ईडी की टीमें टैक्सी में आई थी, ताकि इस रेड की किसी को भी भनक न लग सके।
अहम डाक्यूमेंट मिले
भास्कर के मुताबिक घर में रेड के बाद ईडी ने ऑफिस में रेड की और सर्च ऑपरेशन शुरू किया। ईडी के टीम को इस दौरान कई अहम डॉक्यूमेंट्स मिले। जिसकी जांच की जा रही है कि ये प्रॉपर्टी चंद्र अग्रवाल या उनके फैमिली के नाम पर है या फिर किसी अन्य नामों पर।
रिपोर्ट के मुताबिक ईडी ने लिस्ट तैयार की है। जिसमें सियासी लीडर, रियल एस्टेट कारोबारी, शराब कारोबारी और बिजनेसमैन के नाम शामिल हैं। इसी में चंद्र अग्रवाल की फैमिली की भी लिस्ट बनाई गई है ताकि उन्हें जांच के दायरे में लाया जा सके।
रिेयल एस्टेट में तेजी से उभरा नाम
ईडी की अब तक की जांच में ये सामने आया है कि चंद्र अग्रवाल के नाम पर शहर में प्रापर्टी के कुछ बड़े सौदे हुए हैं। 66 फुटी रोड चंद्र के दो से तीन प्रोजेक्ट का काम तेजी से चल रहा है। इन प्रोजेक्टस के आने के बाद इस रोड पर रियल एस्टेट कारोबार में तेजी आ गई थी। चंद्र अग्रवाल के रियल एस्टेट प्रोजेक्ट की क्वालिटी भी मैट्रो सिटी जैसी है। इसके बाद इस रोड पर और भी कई प्रोजेक्ट आ गए।
महादेव ऐप विवाद में नाम उछला था
चंद्र अग्रवाल का नाम पहली बार साल 2023 के नवंबर महीने में उस समय मीडिया में आया था, जब मुंबई में महादेव ऐप को लेकर FIR दर्ज हुई थी। इसमें 32 आरोपियों की लिस्ट में चंद्र अग्रवाल का नाम था। मामले में सीधे तौर पर कोई आरोप नहीं है, मगर केस में नामजद होने के बाद जालंधर में यह चर्चा का विषय बन गया था। जब चंद्र अग्रवाल का नाम इस मामले में चर्चा मे आया था तो तब भी जालंधर के रियल एस्टेट कारोबार में कुछ समय के लिए मंदी आ गई थी।