भारत की साइबर सुरक्षा एजेंसी CERT-In ने गूगल करोम OS के पुराने वर्जन में संभावित खतरों के बारे में चेतावनी जारी की है। उनका कहना है कि खामियों को दूर करने के लिए और भविष्य में किसी खतरे से बचाव के लिए यूजर्स को अपने ब्राउजर को 114.0.5735.350 या नए वर्जन में अपडेट करना चाहिए।
ये अटैकर्स को हानिकारक कोड एग्जिक्यूट करने रूट प्रिवलेज प्राप्त करने, सिक्योरिटी सॉल्यूशन को बायपास करने या सिस्टम पर सर्विस को बाधित करने की अमुमति दे सकती हैं। अटैकर यूजर्स को किसी खास वेबसाइट पर जाने के लिए प्रेरित करके करमजोरियों को एक्टिव कर सकता है और इन कमजोरियों का फायदा उठा सकता है।
यूजर्स को दी ये सलाह
CERT-In यूजर्स को अपने Google Chrome OS को तुरंत अपडेट करने की सलाह दे रहा है। इतना ही नहीं विभाग ने ब्राउज करते समय सतर्क रहने का भी सुझाव दिया है। संदिग्ध वेबसाइटों पर जाने के लिए अविश्विसनीय सोर्स के लिंक पर क्लिक ना करने या अनवांटेड ईमेल और मैसेज का जबाव ना देने को भी सलाह दी है।
यूजर्स अपने सिस्टम को सुरक्षित रखने के लिए कोई पॉपुलर या विश्वसनीय एंटीवायरस सॉफ्टवेयर का उपयोग भी कर सकते हैं। इसके अलावा, मौजूदा सॉफ्टवेयर को अपडेट रखना भी समझदारी होगी।
CERT-In वर्तमान में 15 फरवरी, 2024 तक Cyber Swachhta Fortnight चला रहा है, जिसमें एंड- यूजर सिस्टम के लिए खतरा पैदा करने वाले बॉटनेट से साइबरस्पेस को सुरक्षित करने पर ध्यान केंद्रित किया गया है। इस पहल के हिस्से के रूप में उन्होंने eScan के सहयोग से साइबर स्वच्छता केंद्र (CSK) की शुरुआत की है।
इनके लिए उपलब्ध
ईस्कैन बॉटनेट स्कैनिंग और क्लीनिंग टूलकिट लैपटॉप, डेस्कटॉप और स्मार्टफोन के लिए उपलब्ध है। यह टूलकिट यूजर्स को अपने डिवाइस को स्कैन करने और साफ करने, बॉटनेट संक्रमण के खिलाफ सुरक्षा को मजबूत करने और पूरे डिजिटल सेफ्टी में योगदान करने का अधिकार देता है।