ख़बरिस्तान नेटवर्क : रमन अरोड़ा के सबसे करीबी दोस्त महेश मखीजा ने विजिलेंस के सामने सरेंडर कर दिया है। रमन अरोड़ा पर विजिलेंस की कार्रवाई के बाद से ही मखीजा फरार चल रहे थे। पर अब खुद वह विजिलेंस के सामने आए और उन्होंने सरेंडर कर दिया है। अब विजिलेंस की टीम मखीजा से पूछताछ करेगी, जिसमें कई बड़े खुलासे होने की उम्मीद है।
गिरफ्तारी के लिए छापेमारी कर रही थी विजिलेंस
विधायक रमन अरोड़ा के बाद महेश मखीजा की गिरफ्तारी के लिए विजिलेंस टीमें कई जगह छापेमारी कर चुकी है। मखीजा को विधायक रमन अरोड़ा का मुख्य राजदार माना जा रहा है। अरोड़ा के विधायक बनने के बाद मखीजा तब सुर्खियों में आए थे जब उन्होंने साईंदास स्कूल में भागवत कथा करवाई थी। विजिलेंस जानती है कि अगर रमन अरोड़ा के खिलाफ मजबूत मामला बनाना है तो मखीजा और मदान को हर हाल में पकड़ना होगा।
राजू मदान अभी भी हैं फरार
वहीं रमन अरोड़ा के राइट हैंड माने जाने वाले राजू मदान अभी भी फरार चल रहे हैं। उनकी तलाशी के लिए भी विजिलेंस की टीम अलग-अलग ठिकानों पर छापेमारी कर रही है। क्योंकि महेश मखीजा-राजू मदान दोनों रमन अरोड़ा के साथ रहते थे। ये दोनों ही रमन अरोड़ा के सबसे करीबी थे।
अभी भी गायब बैगों की तलाश जारी
विजिलेंस उन तीन बैगों को तलाश कर रही है, जिन्हें विधायक की सिक्योरिटी हटाने के बाद ठिकाने लगाया गया है। विजिलेंस की कई टीमें बैग ढूंढने में जुटी हुई हैं। मखीजा और मदान पर बैग गायब करने का आरोप है। विधायक रमन अरोड़ा की 4 दिन की रिमांड बढ़ा दी गई है। वहीं अब मखीजा के सरेंडर करने के बाद बैग का पता लगाया जा सकता है।
मामले में मखीजा, मदान भी हैं नामजद
मीडिया से बात करते हुए वकील ने बताया कि इस मामले में विधायक के समधी राजू मदान, बेटा राजन अरोड़ा और महेश मखीजा के नामजद किया गया है। कहा जा रहा है कि विधायक ने पूछताछ के दौरान माना कि उसका बेटा नगर निगम के कामकाज देखता था और पार्टी संग नगर निगम में जाकर काम करवाकर देता था। इसी के चलते विजिलेंस तीनों के खिलाफ पर्चा दर्ज कर लिया गया है, साथ ही कोर्ट से अरेस्ट वारंट जारी करवाएगी।