Increasing trend of working while standing in office for good health : आजकल अच्छी सेहत के लिए डेस्क के सामने खड़े होकर काम करने का चलन बढ़ रहा है। लोगों का मानना है कि डेस्क पर बैठकर काम करने से शरीर में जो निष्क्रियता आ जाती है। कुछ घंटे खड़े होकर काम करने से उसकी भरपाई हो जाती है। बहुतों का मानना है कि लगातार बैठकर काम करने से स्ट्रोक और हार्ट फैल्योर की जो समस्याएं हो सकती हैं। थोड़ी देर खड़े होकर काम करने से इनका खतरा कम होता है। लेकिन एक नई स्टडी से पता चला है कि खड़े होकर काम करने से ज्यादा फायदा तो नहीं होता बल्कि उलटे में शरीर को नुकसान हो सकता है।
पैरों की नसों में आ जाती है सूजन
स्टडी में कहा गया है कि देर तक डेस्क पर खड़े होकर काम करने से पैरों में नसों में सूजन आ जाती है और खून का थक्का बनने का खतरा भी बढ़ जाता है। यह स्टडी ब्रिटेन में 80,000 से अधिक एडल्ट्स पर की जिसमें पता चला है कि खड़े होकर काम करने से स्ट्रोक और हार्ट फैल्योर जैसी बीमारियों का खतरा कम नहीं होता, जबकि बहुत से लोगों का यही मानना है। शोधकर्ताओं ने कहा कि खड़े रहने से स्ट्रोक, हृदयाघात और कोरोनरी जैसी हृदय बीमारियों का खतरा कम नहीं होता।
खड़े होकर काम करने के नुकसान
सिडनी विश्वविद्यालय की तरफ से की गई स्टडी में पता चला कि दिन में दो घंटे से ज्यादा समय तक खड़े रहने से डीप वेन थ्रोम्बोसिस और वैरिकोज वेन्स जैसी समस्याओं के विकसित होने का रिस्क बढ़ जाता है। स्टडी का नतीजा इंटरनेशनल जर्नल ऑफ एपिडेमियोलॉजी में प्रकाशित हुआ है। सिडनी विश्वविद्यालय के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य फैकल्टी के डॉ. मैथ्यू अहमदी ने कहा कि जो लोग लंबे समय तक बैठे या खड़े रहते हैं, उन्हें पूरे दिन नियमित रूप से गतिविधि करनी चाहिए।
लाइफस्टाइल में कोई सुधार नहीं
अहमदी ने कहा, 'सबसे अहम बात ये है कि बहुत देर तक खड़े रहने से गतिहीन लाइफस्टाइल में कोई सुधार नहीं होगा और यह कुछ लोगों के लिए रक्त संचार में रिस्की हो सकता है। शोध में पता चला है कि लंबे समय तक खड़े रहने से स्वास्थ्य में सुधार नहीं होता और रक्त संचार संबंधी समस्याओं का जोखिम बढ़ जाता है। कलाई पर डिवाइस पहनाई। शोध टीम ने पाया कि दो घंटे से ज्यादा खड़े रहने पर हर 30 मिनट के लिए रक्त संचार संबंधी बीमारी का जोखिम 11% बढ़ जाता है।
हेल्थ रिस्क कम करने के लिए करें
सिडनी विश्वविद्यालय में मैकेंजी वेयरेबल्स रिसर्च हब के निदेशक प्रोफेसर इमैनुएल स्टामाटाकिस ने कहा जो लोग नियमित रूप से लंबे समय तक बैठते हैं। उन्हें बीच-बीच में उठते रहना चाहिए और नियमित रूप से व्यायाम करना चाहिए जिससे हृदय रोग का खतरा कम हो। नियमित रूप से ब्रेक लें। लंबी दूरी की यात्रा करते समय नियमित ब्रेक लें या लंच के समय का उपयोग डेस्क से दूर जाने और कुछ गतिविधि करने के लिए करें।
स्थिर रहने से बचेंगे, उतना बेहतर
ब्रिटिश हार्ट फाउंडेशन की वरिष्ठ कार्डियक नर्स एमिली मैकग्राथ कहती हैं लोग जितना ज्यादा स्थिर रहने से बचेंगे। उतना बेहतर होगा। स्टडी से पता चला है कि लंबे समय तक खड़े रहने से हृदय संबंधी बीमारी का जोखिम नहीं बढ़ता है। हालांकि कुछ लोगों को इससे रक्त संचार संबंधी दिक्कतें हो सकती हैं। इस जोखिम को कम करने के लिए सक्रिय होना जरूरी है। टहलें, पैदल मीटिंग के लिए जाएं। सीढ़ियों का उपयोग करें।