दिल्ली शराब नीति मामले में अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद पंजाब की एक्साइज पॉलिसी पर उंगली उठी है। मोगा की एक कंपनी ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर ड्रॉ के जरिए आवंटन के लिए 75,000 रुपये का आवेदन शुल्क तय करने और इसे गैर-वापसी योग्य बनाने को चुनौती दी है। मैसर्स दर्शन सिंह एंड कंपनी की याचिका पर हाईकोर्ट में अगली सुनवाई 10 अप्रैल होगी।
आवेदन शुल्क हजारों गुना बढ़ा
कंपनी के मुताबिक पंजाब सरकार 2024-25 के लिए ठेके ड्रॉ से अलॉट करेगी। कुछ साल पहले तक आवेदन शुल्क मात्र 3500 रुपये था, लेकिन इसे अब बढ़ाकर 75000 रुपये किया गया है। यदि अलॉटमेंट नहीं होती तो ये राशि रिफंडेबल नहीं है। जिनका ड्रॉ नहीं निकलेगा उनकी आवेदन फीस के 75 हजार रुपये डूब जाएंगे। याचिकाकर्ता ने कहा कि आवेदन फीस में बेतहाशा बढ़ोतरी न सिर्फ गलत है, बल्कि न्याय के सिद्धांत के खिलाफ भी है। ऐसे में पंजाब सरकार की इस नीति को रद्द किया जाए।
याची ने बताया कि सरकार के पास अब तक 35000 आवेदन आए हैं, जिससे सरकार ने 260 करोड़ रुपये कमा लिए हैं। आबकारी विभाग ने कुछ ऐसे सुधार किए हैं जो मनमाने और अन्यायपूर्ण हैं। ऐसे में सरकार की इस नीति को रद्द किया जाए।
चुनाव आयोग ने रद्द किए थे ठेकों के ड्रॉ
चुनाव आयोग ने पंजाब में नई आबकारी नीति के तहत शुक्रवार को निकाले जाने वाले ठेकों के ड्रॉ अगले आदेश तक रद्द दिए थे। ड्रॉ 22 मार्च को निकाले जाने थे और आचार संहिता लगने के कारण मामला चुनाव आयोग तक पहुंचा था।
9 मार्च को पंजाब मंत्रिमंडल ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए नई आबकारी नीति को मंजूरी दी थी आबकारी नीति में बदलाव करके पंजाब सरकार ने वर्ष 2024-25 के दौरान 10145.95 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बनाई है, जो पिछले साल के मुकाबले 621.95 करोड़ रुपये ज्यादा है। नई आबकारी नीति में ड्रा के जरिए शराब की दुकानों के आवंटन की बात कही गई है।
बीजेपी चीफ इलेक्शन आफिसर से मिली
पंजाब भाजपा का शिष्टमंडल बीते दिन चीफ इलेक्शन ऑफिसर से मिला। बीजेपी प्रधान सुनील जाखड़ की अगुवाई में शिष्टमंडल ने चुनाव आयोग को आम आदमी पार्टी के खिलाफ ज्ञापन सौंपा है। बीजेपी ने बीते दिन आरोप लगाया था कि पंजाब की शराब पॉलिसी भी दिल्ली सरकार की तर्ज पर है। ज्ञापन में मांग रखी गई है कि ईडी को पंजाब की शराब पॉलिसी को लेकर भी जांच होनी चाहिए।