पंच कैलाशों को भगवान भोलेनाथ का निवास स्थान माना जाता है। साल 2024 में श्रीखंड महादेव की यात्रा 14 जुलाई यानी आज से शुरू हो गई है। जो 27 जुलाई तक चलेगी। वहीं रविवार सुबह 5 बजे डीसी कुल्लू ने पहला जत्था यात्रा के लिए रवाना किया। इसके बाद विभिन्न जत्थों में करीब 700 श्रद्धालुओं को रवाना किया गया।
ये है पंच कैलाश पर्वत
हिंदू मान्यताओं के अनुसार, हर कैलाश पर्वत की भगवान शिव से जुड़ी अलग-अलग पौराणिक कथाएं हैं। ये पंच कैलाश तिब्बत में कैलाश मानसरोवर, उत्तराखंड में आदि कैलाश, हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में मणिमहेश, हिमाचल के किन्नौर जिले में किन्नर कैलाश और हिमाचल के कुल्लू जिले में श्रीखंड महादेव स्थित हैं। पंच कैलाशों में से अकेले हिमाचल प्रदेश में तीन कैलाश पर्वत आते हैं।
सबसे कठिन श्रीखंड महादेव यात्रा
वैसे तो हर कैलाश पर्वत की यात्रा बहुत मुश्किल है लेकिन इन सब कैलाश पर्वतों में सबसे कठिन यात्रा कुल्लू जिले में पड़ने वाले श्रीखंड महादेव यात्रा को माना जाता है। इस यात्रा को सबसे कठिन धार्मिक यात्रा कहना गलत नहीं होगा। श्रीखंड महादेव की पैदल यात्रा 35 किलोमीटर है।
आने जाने के लिए 70 किलोमीटर पड़ जाता है
इस यात्रा में कठिन रास्ते, पहाड़ी पगडंडिया और ग्लेशियर आते हैं। इस यात्रा में आना-जाना 70 किलोमीटर पड़ जाता है। ये यात्रा क्यों सबसे मुश्किल होती है, इसके बारे में आपको बताते हैं।
250 रुपए रेजिस्ट्रेशन के लिए देने होंगे
श्रीखंड महादेव की यात्रा के लिए श्रद्धालुओं को 250 रुपये रेजिस्ट्रेशन शुल्क के रूप में चुकाने होंगे। रेजिस्ट्रेशन करवाने वाले श्रद्धालुओं को रजिस्ट्रेशन के बाद यात्रा के लिए स्वास्थ्य की जांच भी करवानी होगी। श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य जांच के बाद ही यात्रा पर जाने दिया जाता है।
ऑनलाइन भी कर सकते रेजिस्ट्रेशन
वहीं, इस यात्रा पर 18 से 60 साल के आयु वर्ग के लोग ही जा सकते हैं। ऑफलाइन के साथ-साथ shrikhandyatra.hp.gov.in पर ऑनलाइन रेजिस्ट्रेशन भी करवाया जा सकता है। वेबसाइट पर यात्रा के दौरान अपनाई जाने वाली सावधानियां और नियम भी लिखे हैं, जिनका पालन यात्रियों को करना होता है।