लोक इंसाफ पार्टी के संस्थापक और पूर्व विधायक सिमरजीत सिंह बैंस के कांग्रेस पार्टी में शामिल होने पर फिल्लौर से विधायक विक्रमजीत सिंह चौधरी ने कांग्रेस को आड़े हाथों लिया। उन्होंने आरोप लगाया कि बलात्कार के आरोपों से घिरे नेता को कांग्रेस में शामिल करवाना एक गंभीर समझौता है और ये पार्टी के पतन का संकेत है।
कांग्रेस में खराब अक्स वाले नेताओं का रुझान
चौधरी ने कहा कि कांग्रेस में खराब अक्स वाले नेताओं को शामिल करवाने का रूझान बन गया है। जालंधर के लोकसभा सीट पर चरनजीत सिंह चन्नी को टिकट देना भी इसी का हिस्सा है। बता दें कि कांग्रेस पार्टी ने लुधियाना के बैंस बद्रर्स को कांग्रेस प्रदेश प्रभारी देवेंद्र यादव और राहुल गांधी ने पार्टी में शामिल करवाया है। जिसका विक्रमजीत चौधरी विरोध कर रहे हैं।
पार्टी के लिए अस्तित्व बचाना मुश्किल
चौधरी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी अपने बचे अस्तित्व को बचाने के लिए संघर्ष कर रही है और इसलिए पार्टी लीडरशिप बलात्कार के दोषी को पार्टी में शामिल करवाने को मजबूर है। जो कांग्रेस पार्टी कभी नैतिकता वाले नेताओं का घर था, वो अब नैतिक पतन में डूब गई है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी को अपनी नैतिकता और ऊंचे मापदंडों को बरकरार रखने पर काम करने की जरूरत है।
मद्रर्स डे पर महिलाओं के खिलाफ लिया फैसला
मद्रर्स डे पर कांग्रेस ने महिलाओं को बहुत अच्छा तोहफा दिया है। उन्होंने गलत फैसला लेते हुए उन बैंस बद्रर्स को पार्टी में शामिल कराया है, जिनमें सिमरजीत बैंस पर महिलाओं के साथ छेड़छाड़ जैसे घिनौने आरोप लगे हैं। वह धारा 376 जैसे गंभीर आरोपों का सामना कर रहे हैं।
विक्रमजीत चौधरी ने बताया कि 2020 में सिमरजीत सिंह बैंस के खिलाफ महिला के आरोप पर पर्चा दर्ज किया गया था। जुलाई 2020 में उन्हें गिरफ्तार किया गया था और अब वह जमानत पर बाहर हैं। विक्रमजीत ने महिलाओं की सुरक्षा को लेकर कांग्रेस की वचनवद्धता पर सवाल उठाए।