लोकसभा चुनाव 2024: संगरूर, पंजाब के 13 लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र में से एक है। यह पंजाब के उत्तर-पश्चिम में स्थित है। संगरूर पंजाब का एक बड़ा शहर है। इसके 9 विधानसभा क्षेत्र हैं। 1952 में यहां पहला लोकसभा चुनाव हुआ था जिसमें भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस सरदार रंजीत सिंह विजयी रहे थे। गुरुद्वारा ननकाना साही बंगुर यहां का प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है। दिल्ली से संगरूर की दूरी 248.3 किलोमीटर है।
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने 2014 और 2019 में संगरूर लोकसभा सीट से चुनाव जीता था। हाल में धूरी सीट से विधानसभा चुनाव जीतने के बाद उन्होंने लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था। 2022 में हुए उपचुनाव में आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार गरमेल सिंह, शिरोमणी अकाली दल (अमृतसर) के उम्मीदवार सिमरनजीत सिंह मान से 5822 वोटों से हार गए थे। संगरूर लोकसभा उपचुनाव के दौरान कम मतदान हुआ था। यहां सिर्फ 45 फीसदी वोट पड़े थे, जो 2019 के चुनावों की तुलना में 27.1 प्रतिशत कम था।
सीएम मान 2 बार रहे सांसद
बता दें कि संगरूर सीट से भगवंत मान लगातार दो बार सांसद रहे हैं। पंजाब विधानसभा चुनाव में ऐतिहासिक जीत के बाद उन्होंने इस सीट से इस्तीफा दे दिया था और पंजाब के मुख्यमंत्री बने। संगरूर जिले में एक नगर परिषद शहर है। संगरूर शहर को 21 वार्डों में विभाजित किया गया है जिसके लिए हर 5 साल में चुनाव होते हैं।
परिचय: पहले बरनाला ज़िला इसका हिस्सा था, लेकिन अब वह एक अलग जिला है। इंडिया का मशहूर न्यूज वेब पोर्टल पंजाब न्यूज टाइम्स भी यहां से ही प्रकाशित होता है। संगरूर जिले का नाम इसके मुख्यालय शहर, संगरूर से लिया गया है। ऐसा कहा जाता है कि इसकी स्थापना लगभग चार सौ साल पहले एक जाट संघू ने की थी। संगरूर पटियाला डिवीजन के चार जिलों में से एक है।
जनसंख्या: 2011 की जनगणना के अनुसार, संगरूर की जनसंख्या 1,655,169 थी, जिसमें पुरुष और महिलाएं क्रमशः 878,029 और 777,140 थी।
अर्थव्यवस्था: पिछले 3 दशकों में, जिला संगरूर ने गेहूं और धान उत्पादन के क्षेत्र में महान उपलब्धियां हासिल की हैं। 1970-71 से 2007-08 के दौरान गेहूं का क्षेत्रफल 274000 हेक्टेयर से बढ़कर 283000 हेक्टेयर और धान का क्षेत्रफल 11000 हेक्टेयर से बढ़कर 262000 हेक्टेयर हो गया।
मतदाताओं की संख्या: संगरूर में कुल मतदाताओं की जनसंख्या 191454 है। शहर में कुल मतदान केंद्र 214 है। कुल मतदान केंद्र स्थान 202 है।
ये रहे विजता
1952 सरदार रणजीत सिंह (INC)
1962 सरदार रणजीत सिंह (भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी)
1967 निर्लेप कौर (अकाली दल)
1971 तेजा सिंह स्वतंत्र (ICP)
1977 सुरजीत सिंह बरनाला (SAD)
1980 गुरचरण सिंह निहालसिंहवाला (INC)
1984 बलवंत सिंह रामूवालिया (SAD)
1989 राजदेव सिंह (SAD) (अमृतसर)
1991 गुरचरण सिंह ददाहूर (INC)
1996 से 1998 सुरजीत सिंह बरनाला (SAD)
1999 सिमरनजीत सिंह मान (SAD) (अमृतसर)
2004 सुखदेव सिंह ढींढसा (SAD)
2009 विजय इंदर सिंगला (INC)
2014 से 2019 तक भगवंत मान( AAP)
2022^ सिमरनजीत सिंह मान (SAD)(अमृतसर)