खबरिस्तान नेटवर्क: आप में से बहुत से लोगों ने देखा होगा कई बार गर्दन के चारों ओर काली लाइन्स बनी होती है। जिसके हटाने के चक्कर में महिलाएं ब्यूटी पार्लर का सहारा लेती हैं। कुछ तो घरेलू नुस्खों से ही इन लाइन्स को हटाने की कोशिश करती हैं। लेकिन क्या आपको पता हैं कि ये लाइन्स किसी बीमारी के लक्षण या फिर किसी बीमारी के शुरूआती कारण भी हो सकते हैं। तो आज यही इन्ही लाइन्स के बारे में जान लेते हैं।
गर्दन में कालापन होना
यदि गर्दन में कालापन हो तो सचेत हो जाएं क्योंकि यह प्रीडायबिटीज/डायबिटीज के शुरुआती कारण हो सकते हैं। जी हां, गर्दन के चारों ओर पिगमेंटेड त्वचा, जिसे एन्थोसिस निगरिकन्स भी कहा जाता है, इंसुलिन रेजिस्टेंस का संकेत होता है।
भारत में डायबिटीज पेशेंट्स दिनोदिन बढ़ते जा रहे हैं।बता दें एक अध्ययन के अनुसार, 'डायबिटीज से पीड़ित हर दो भारतीयों में से एक (47%) अपनी कंडीशन से अनजान है और केवल एक चौथाई (24%) ही इसे कंट्रोल में लाने का प्रबंधन करते हैं।'
ग्लूकोज का लेवल बढ़ना
डायबिटीज अक्सर त्वचा सहित शरीर के कई हिस्सों को प्रभावित करती है। जब डायबिटीज त्वचा को प्रभावित करती है, तो यह अक्सर एक संकेत होता है कि आपके ग्लूकोज का लेवल बहुत अधिक बढ़ गया है। इसका मतलब यह हो सकता है कि आपको डायबिटीज या प्री-डायबिटीज है। ऐसे में डॉक्टर से बात करने का सही समय है।
त्वचा पर पीले, लाल या भूरे रंग के धब्बे होना
यह त्वचा की कंडीशन अक्सर छोटे उभरे हुए ठोस धक्कों के रूप में शुरू होती है जो पिंपल्स की तरह दिखते हैं। जैसे-जैसे यह आगे बढ़ते हैं, ये धक्कों में सूजन और सख्त त्वचा के धब्बे बन जाते हैं। धब्बे पीले, लाल या भूरे रंग के हो सकते हैं। पैरों पर लाल, सूजे हुए और सख्त पैच नेक्रोबायोसिस लिपोइडिका है। आप ब्लड वेसल्स को देख सकती हैं या त्वचा में खुजली और दर्दको महसूस कर सकती हैं।
त्वचा का डार्क हिस्सा मखमल जैसा दिखना
आपकी गर्दन, बगल, कमर या अन्य जगहों पर मखमली त्वचा का गहरा पैच (या बैंड) का मतलब यह हो सकता है कि आपके ब्लड में बहुत अधिक इंसुलिन है। यह अक्सर प्रीडायबिटीज का संकेत होता है। इस त्वचा की कंडीशन का मेडिकल नाम एसेंथोसिस नाइग्रिकन्स है। अक्सर गर्दन की सिलवटों में त्वचा का रंग गहरा होना, ये पहला संकेत हो सकता है कि किसी को डायबिटीज है।
कठोर या मोटी त्वचा
जब यह उंगलियों, पैर की उंगलियों या दोनों पर विकसित होता है, तो इस कंडीशन का मेडिकल नाम डिजिटल स्केलेरोसिस है। साथ ही, आप अपने हाथों के पिछले हिस्से पर टाइटनेस या वैक्स जैसी त्वचा महसूस कर सकती हैं। इसमें उंगलियां टाइट और हिलने-डुलने में मुश्किल हो सकती हैं। यदि डायबिटीज को वर्षों से खराब तरीके से कंट्रोल किया गया है, तो ऐसा महसूस हो सकता है कि आपकी उंगलियों में अकड़न है।
प्रीडायबिटीज को कंट्रोल करने के तरीके
इसको कण्ट्रोल करने के लिए जौ, ज्वार, रागी, जई जैसे विभिन्न प्रकार के अनाज अपनी डाइट में शामिल करें और दैनिक आधार पर मैदा का उपयोग बिलकुल न करें। साथ अपनी डाइट में फलों और सब्जियों को ऐड करें। इससे लिए आपको वजन कम करने की भी जरूरत है। ऐसे में कम कैलोरी वाली डाइट को फॉलो करें।
स्ट्रेंथ ट्रेनिंग वास्तव में आपके इंसुलिन रेजिस्टेंस को बेहतर बनाने में मदद करता है। सप्ताह में 3 बार 30-40 मिनट के लिए एक अच्छी शुरुआत है,तनाव को कम करने की कोशिश करें। यह एक और कारण है जिससे आपके शरीर की चर्बीबढ़ती है। 6-7 घंटे नींद जरूर लें, क्योंकि यह इंसुलिन रेजिस्टेंस प्रबंधन का एक अनिवार्य पहलू है।
ये जानकारी आपको जागरूकता मात्र के लिए दी गयी है खबरिस्तान नेटवर्क इसकी कोई पुष्टि नहीं करता है। इन पर अमल करने से पहले या इसके बारे में अधिक जानकारी लेने के लिए एक्सपर्ट्स से राय जरूर ले।